कोरोनो वायरस बीमारी से जुड़े मिथक और उनका सच
दुनिया कोरोनो वायरस से ख़ौफ में है, लेकिन एक वीडियो वायरल हो रहा है, जिसमें दावा किया जा रहा है कि मौत बांटने वाले कोरोनो वायरस का इलाज कुरान में है. इस वीडियो में ये भी दावा किया जा रहा है कि खुद चीन के प्रधानमंत्री ने मस्जिद में नमाज़ अदा की, ताकि कोरोना वायरस से बचा जा सके, इस दावे की हकीकत जानने के लिएहमने वीडियो देखा तो पाया ये सिर्फ खोखली बातें है, जानिए पूरा सच
करॉना वायरस पर आयुष मंत्रालय ने आयुर्वेदिक, होम्योपैथी और यूनानी दवाइयों से इलाज होने की बात कही है!चीन में फैले करॉना वायरस ने अब तक 132 लोगों की जान ले ली है और करीब 6,000 मामले सामने आ चुके हैं। अभी दुनिया के तमाम देश इसका इलाज खोजने में जुटे हैं। इसी बीच भारत के आयुष मंत्रालय ने आयुर्वेद, होम्योपैथी और यूनानी दवाओं के सहारे इसके रोकथाम की बात कही है।
कोरोनो वायरस बीमारी से जुड़े मिथक और उनका सच, यहां जानें सबकुछ
जब बीमारी इतनी बड़ी है तो जाहिर सी बात है इसे लेकर लोगों के बीच डर, घबराहट और आतंक का माहौल भी बना हुआ है। कोई कह रहा है कि होमियोपथी से करॉना का इलाज हो सकता है तो कोई कह रहा है इसकी आयुर्वेदिक दवा उपलब्ध है। सोशल मीडिया पर हर तरफ करॉना वायरस को लेकर कई तरह के मिथक फैलाए जा रहे हैं। लिहाजा हम आपको बता रहे हैं कि करॉना वायरस से जुड़े मिथक और उनकी हकीकत के बारे में...मिथक: लहसुन खाने से दूर होगा करॉना वायरस
हकीकत: इन दिनों वॉट्सऐप पर ऐसे कई मेसेज चल रहे हैं जिसमें ये दावा किया जा रहा है कि लहसुन का सेवन करने से करॉना वायरस इंफेक्शन से बचा जा सकता है लेकिन ये बात पूरी तरह से गलत है। ऐंटीमाइक्रोबियल प्रॉपर्टीज से भरपूर लहसुन एक हेल्दी फूड है लेकिन इस बात का कोई संकेत या सबूत नहीं मिले हैं जो ये साबित कर सके कि लहसुन से करॉना वायरस का इलाज हो सकता है।मिथक: निमोनिया की वैक्सीन करॉना वायरस से बचाने में मदद करती है
हकीकत: नहीं ये बात भी पूरी तरह से गलता है। WHO ने भी बता दिया है कि निमोनिया के लिए दी जाने वाली न्यूमोकॉकल वैक्सीन इस बेहद नए और खतरनाक करॉना वायरस के खिलाफ सुरक्षा प्रदान नहीं करती है। ये वायरस इतना नया है कि इसके लिए एक अलग और नई वैक्सीन की जरूरत है। फिलहाल अनुसंधानकर्ता भी करॉना वायरस के लिए नई वैक्सीन बनाने की कोशिश में जुटे हैं।मिथक: गाय का गोबर और गोमूत्र के सेवन से होगा करॉना वायरस का इलाज
हकीकत: करॉना वायरस के सामने आने के बाद हर कोई उसका अपने तरीके से इलाज करने का दावा कर रहा है और इसी क्रम में कुछ लोगों का दावा है कि गाय का गोबर और गोमूत्र का सेवन करने से करॉना वायरस इंफेक्शन का इलाज हो सकता है। लेकिन इससे पहले कि आप इन बातों पर यकीन करें हम आपको बता दें कि यह बात पूरी तरह से गलता है क्योंकि करॉना वायरस के इलाज की दवा अब तक बन नहीं पायी है।मिथक: पालतू जानवरों से फैल सकता है करॉना वायरस
हकीकत: यह बात अब तक किसी रिसर्च या स्टडी में साबित नहीं हुई है और ना ही इस बात के कोई पुख्ता सबूत हैं जो ये बताएं कि पालतू जानवर जैसे कुत्ते या बिल्ली इस खतरनाक करॉना वायरस से संक्रमित हो सकता है। अब तक इन पेट्स से इंसानों में करॉना फैलने का कोई मामला सामने नहीं आया है। हालांकि पेट्स को छूने के बाद बेहद जरूरी है कि आप अच्छी तरह से हैंडवॉश करें ताकि किसी भी तरह का बैक्टीरिया फैलने से रोक सकें।करॉना वायरस पर आयुष मंत्रालय ने आयुर्वेदिक, होम्योपैथी और यूनानी दवाइयों से इलाज होने की बात कही है!चीन में फैले करॉना वायरस ने अब तक 132 लोगों की जान ले ली है और करीब 6,000 मामले सामने आ चुके हैं। अभी दुनिया के तमाम देश इसका इलाज खोजने में जुटे हैं। इसी बीच भारत के आयुष मंत्रालय ने आयुर्वेद, होम्योपैथी और यूनानी दवाओं के सहारे इसके रोकथाम की बात कही है।